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डॉक्टरः
चिकित्सा में करियर बनाने में सूर्य का बड़ा प्रभाव है. दंत चिकित्सा के लिए शनि को विशेष रूप से प्रभावी माना जाता है. वहीं सर्जरीके क्षेत्र में मंगल का आधिपत्य सबसे अधिक है. मंगल रक्त का कारक है. सर्जरी में रक्त का बहाव होता है इसलिए सफल सर्जरी के लिए मंगल की कृपा जरूरी समझी जाती है.
किसी को यदि सर्जरी करानी होती है तो ज्योतिषी उस व्यक्ति के मंगल की स्थिति का ही विशेष रूप से विचार करते हैं. इससे सर्जरी के सफलता की संभावना अधिक रहती है.
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इस तरह मेडिकल प्रोफेशन के लिए तीन ग्रह उत्तरदायी हुए- सूर्य, मंगल और शनि. फिजिशयन, नेत्र रोग में सफलता के लिए सूर्य, सर्जन के लिए मंगल और डेंटल मेडिसिन में सफलता के लिए शनि का विशेष सहयोग चाहिए.
सूर्य को प्रतिदिन जल दें. जल में संभव हो तो कुमकुम या रक्त चंदन मिला ले. पिता का सम्मान करें. रविवार को यदि नमक का त्याग कर सकें तो करें, नहीं कर पाते तो रात्रि में मीठा भोजन करें. गुरूजनों, सीनियर्स को मीठा खिलाएं.
मंगल को प्रसन्न रखने के लिए मंगलवार को गाय को गुड़ खिला दें. हनुमान जी के मंदिर चले जाएं. हो सके तो बूंदी प्रसाद चढ़ा दें. अधीनस्थ कर्मचारियों, छोटे काम करने वालों का तिस्कार न करें. इससे सरल और सस्ता उपाय क्या हो सकता है.
“ऊं अं अंगारकाय नमः” मंत्र की एक माला मंगलवार को जप लें. दो मिनट भी नहीं लगेगा.
शनि को प्रसन्न करने के उपाय भी हमने बताए. शनिवार को पीपल को प्रणाम करें. संभव हो तो पीपल के नीचे सरसो तेल का दीपक जला दें. हनुमानजी की पूजा करें.
गूगल ने प्रभु शरणम् को 4.7 की रेटिंग दी है. आज तक ऐसी रेटिंग किसी हिंदू धार्मिक ऐप्प को नहीं मिली है.कुछ तो बात होगी कि गूगल इसे देता है ऐसी शानदार रेटिंग.
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